7/14/2007

विवादों में घिरा विश्व हिंदी सम्मेलन


नई दिल्ली (वार्ता) : अमेरिका के न्यू यॉर्क में 13 जुलाई से शुरू होने वाला तीन दिवसीय 8 वां विश्व हिन्दी सम्मेलन विवादों में घिर गया है। हिन्दी के प्रख्यात लेखक और 'हंस' के सम्पादक राजेंद्र यादव और प्रख्यात बंगला लेखिका महाश्वेता देवी ने भी सम्मेलन में शामिल न होने का फैसला किया है। इससे पहले महात्मा गांधी अंतरराष्ट्रीय हिन्दी विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. नामवर सिंह, मशहूर लेखक अशोक बाजपेयी, जाने-माने कवि केदार नाथ सिंह और साहित्य अकादमी पुरस्कार प्राप्त कवि मंगलेश डबराल भी अपना विरोध प्रकट करते हुए सम्मेलन में भाग न लेने की घोषणा कर चुके है। राजेंद्र यादव ने कहा कि सम्मेलन पर हिंदुत्ववादियों का कब्जा है।
तरफ हिन्दी के कई वामपंथी लेखक एवं पत्रकार सम्मेलन में भाग ले रहे है। इनमें रामशरण जोशी, डॉ. शम्भू नाथ, चंचल चौहान और सुधीश पचौरी शामिल हैं। सम्मेलन में लेखकों पत्रकारों और राजनीतिज्ञों का सरकारी प्रतिनिधिमंडल भाग ले रहा है। सम्मेलन में 250 प्रवासी और विदेशी हिन्दी लेखक भी भाग लेंगे। । उधर महाश्वेता देवी ने बताया कि उन्हें सम्मेलन में भाग लेने के लिए कोई निमंत्रण पत्र नहीं मिला है।

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